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चंद्रग्रहण का नहीं हुआ दीदार तो सूतक भी नहीं लगा

सत्यनारायण प्रभु की पूजा कर लोगो में मनाया बुद्ध पूर्णिमा

प्रतीकात्मक तस्वीर।
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पटना (voice4bihar desk)। बुधवार को वैशाख शुक्ल पूर्णिमा को इस साल का पहला चंद्रग्रहण लगाI यह ग्रहण भारत में पूर्वी क्षितिज के कुछ हिस्सों में मोक्ष के समय देखा गयाI इसके अलावे इस ग्रहण को अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, उत्तरी यूरोप, पूर्वी एशिया और प्रशांत महासागर के कुछ भागों में देखा गयाI ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ग्रहण जहां दिखाई पड़ता है, उसका सूतक या फलाफल भी वहीं लगता हैI इसीलिए यहां इसका कोई प्रभाव नहीं हुआI लोगों ने सामान्य दिनचर्या का पालन किया।

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बुधवार को वैशाख की पूर्णिमा पर सर्वार्थ अमृत सिद्धि योग होने से यह दिन और उत्तम हो गया हैI कोरोना के कारण लॉकडाउन होने से घरों में ही गंगाजल से स्नान करके श्रीहरि के साथ माता लक्ष्मी की गंगाजल व पंचामृत स्नान, अष्टगंध चंदन का लेप, पुष्प, सुगंधित इत्र, धूप-दीप, आरती के साथ पूजा-अर्चना, मंत्र जाप, विष्णु सहस्त्रनाम, हनुमान चालीसा, पुरुष सूक्त, श्रीसूक्त का वाचन एवं धार्मिक पुस्तकों का पाठ कियाI पूजा की शुरुआत भगवान भास्कर को जलार्घ्य देकर की गयी।

बुधवार को वैशाख मास की स्नान-दान की पूर्णिमा होने से कई श्रद्धालुओं में अपने घरों में सुख, शांति, समृद्धि व सकारात्मकता के वास के लिए सत्यनारायण भगवान की पूजा, कथा, हवन, आरती कीI ब्राह्मणों को अन्न, ऋतुफल, वस्त्र, जनेऊ, सुपारी का दान दियाI धार्मिक मान्यता है कि इस दिन ब्राह्मणों को दान देने से समस्त मनोकामनाओं की पूर्ति तथा दुःख व कष्टों का नाश होता हैI वैशाख की पूर्णिमा का अन्य मास की पूर्णिमा से ज्यादा महत्व हैI इसीलिए इस दिन भगवान को खीर का भोग लगाकर प्रसाद ग्रहण कियाI

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