नवनिर्वाचित बीडीसी मेंबर की सदस्यता हो सकती है रद्द, जांच रिपोर्ट से मची खलबली
पंचायत चुनाव जीतने के लिए पीडीएस डीलर ने खुले हाथ से बांटा जनवितरण का अनाज
आचार संहिता के दौरान भी बीडीसी प्रत्याशी ने राशन-किरासन का वितरण रखा जारी, आरोपों की हुई पुष्टि
राज्य निर्वाचन आयोग के आदेश की अवहेलना का आरोप साबित, वरीय अधिकारियों के निर्णय पर टिकी नजर
अभिषेक कुमार सुमन के साथ बजरंगी कुमार की रिपोर्ट
सासाराम (voice4bihar news)। रोहतास जिले के नासरीगंज प्रखंड अंतर्गत इटिम्हा पंचायत से चुने गए पंचायत समिति सदस्य (बीडीसी मेंबर) सुनील कुमार के निर्वाचन पर उठी आपत्ति अब सही साबित हो रही है। इस संबंध में हुई जांच में यह बात सामने आई है कि पंचायत चुनाव में उम्मीदवारी के बावजूद न सिर्फ जनवितरण प्रणाली की डीलरशिप कायम रखी, बल्कि चुनाव के दौरान राशन व किरासन का वितरण भी किया। हालांकि इस जांच रिपोर्ट के बाद नवनिर्वाचित बीडीसी मेंबर की सदस्यता को लेकर अभी कोई निर्णय नहीं हो सका है।
दरअसल, पंचायत चुनाव के दौरान प्रत्याशियों के फर्जीवाड़े और निर्वाचन आयोग की गाइडलाइन को दरकिनार करने की घटनाएं एक-एक कर सामने आने लगी हैं। प्रखंड प्रमुख पद की दावेदारी की होड़ में एक दूसरे की कलई खोलने में जुटे प्रतिद्वंद्वियों ने ही इस खेल को उजागर किया है। रोहतास जिले में अब तक दो बीडीसी मेंबर की सदस्यता पर तलवार लटकी हुई है। नासरीगंज के इटिम्हा में बीडीसी मेंबर सुनील कुमार के अलावा सासाराम प्रखंड के नहौना पंचायत से चुनी गयीं बीडीसी मेंबर रुपा कुमारी पर भी गंभीर आरोप लग चुके हैं। रुपा कुमारी पर आरोप है कि फर्जी जाति प्रमाण पत्र के सहारे इन्होंने उम्मीदवारी पेश करते हुए जीत दर्ज की है।
नासरीगंज के बीडीओ ने एसडीओ को सौंपी जांच रिपोर्ट
नासरीगंज प्रखंड अंतर्गत इटिम्हा पंचायत से बीडीसी मेंबर सुनील कुमार के निर्वाचन पर पूर्व प्रमुख पवन कुमार ने सवाल उठाये थे। इस आलोक में नासरीगंज प्रखंड विकास पदाधिकारी ने प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी की जांच रिपोर्ट को संलग्न करते हुए अपना मंतब्य बिक्रमगंज अनुमंडल पदाधिकारी को समर्पित कर दिया है। प्रखंड विकास पदाधिकारी ने अपनी रिपोर्ट 18 दिसम्बर को प्रेषित अपने पत्रांक 685 द्वारा अनुमंडल पदाधिकारी को समर्पित किया है।
समर्पित रिपोर्ट के अनुसार इटिम्हा पंचायत में बीडीसी सदस्य पर निर्वाचित सुनील कुमार ने बतौर पीडीएस दुकानदार राशन किरासन का उठाव एवं वितरण किया है। इस संबंध में प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी ने 18 दिसम्बर को ही जांच कर रिपोर्ट उसी दिन पत्रांक 80 के द्वारा प्रखंड विकास पदाधिकारी को समर्पित किया है। इसमें प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी ने स्पष्ट तौर पर इस बात की पुष्टि की है कि संबंधित जविप्र डीलर ने राशन- किरासन का वितरण पंचायत चुनाव के दौरान किया है। हालांकि इस रिपोर्ट ने प्रखंड प्रशासन को भी कठघरे में ला खड़ा किया है।

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गले की हड्डी न बन जाए रिपोर्ट
माना जा रहा है कि बिक्रमगंज अनुमंडल पदाधिकारी को समर्पित रिपोर्ट प्रखंड विकास पदाधिकारी के लिए गले की हड्डी साबित हो सकती है। जानकारों के मुताबिक बिहार राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से बीते 29 सितम्बर को जारी पत्रांक 4610 के आलोक में खाद्य उपभोक्ता संरक्षण विभाग के सचिव विनय कुमार ने जनवितरण प्रणाली के संबंध में दिशानिर्देश जारी किया था। 6 अक्टूबर को जारी पत्रांक 4259 में स्पष्ट तौर पर कहा गया था कि पीडीएस दुकानदारों के स्वयं या उनके पति पत्नी माता-पिता, पुत्र-पुत्री जैसे निकटतम सम्बंधी के अभ्यर्थी होने की स्थिति में निर्वाचन प्रक्रिया की समाप्ति तक लाभुकों को निकटवर्ती जन वितरण प्रणाली दुकानदार से संबद्ध किया जाएगा।
इटिम्हा पंचायत के मामले में प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी एवं प्रखंड विकास पदाधिकारी नासरीगंज की जांच रिपोर्ट से स्पष्ट हो चुका है कि पीडीएस दुकानदार सुनील कुमार के अभ्यर्थी होने की स्थिति में उनके लाभुकों को किसी अन्य जन वितरण प्रणाली की दुकान के यहां सम्बद्ध नहीं कराया गया। साथ ही पंचायत चुनाव में खुद अभ्यर्थी होने के बावजूद सुनील कुमार ने बतौर पीडीएस दुकानदार राशन किरासन का वितरण किया है। यानि राशन वितरण के बहाने वोटरों को अपने पक्ष में करने की स्थिति बनती दिख रही है।
राज्य निर्वाचन आयोग के आदेश की अवहेलना का है आरोप
इस मामले में इटिम्हा पंचायत के नवनिर्वाचित बीडीसी सुनील कुमार के प्रतिद्वंद्वी रहे पूर्व प्रमुख पवन कुमार ने रोहतास डीएम को पत्र लिखकर शिकायत की थी। पवन ने इस मामले की जांच कर सुनील कुमार का निर्वाचन रद्द करते हुए क़ानूनी कार्रवाई की मांग की है। नवनिर्वाचित बीडीसी सुनील कुमार पर चुनाव प्रक्रिया के दौरान पीडीएस दुकान का राशन उठाव कर लाभुकों के बीच वितरण करने सहित राज्य निर्वाचन आयोग और खाद्य उपभोक्ता संरक्षण विभाग के आदेशों का उल्लंघन करने का आरोप है।
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जानिए क्या है पूरा मामला
नासरीगंज के इटिम्हा पंचायत के नव निर्वाचित बीडीसी सदस्य सुनील कुमार चुनाव पूर्व से ही पीडीएस दुकानदार हैं। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के दौरान गाइडलाइन जारी था कि यदि पीडीएस दुकानदार या उनके निकटतम परिजन पंचायत चुनाव में बतौर प्रत्याशी नामांकन करते हैं तो चुनाव प्रकिया पूरी होने तक उनके पीडीएस दुकान के लाभुकों को निकटम पीडीएस दुकानदार से टैग कर लाभ दिया जाएगा ताकि पंचायत चुनाव में प्रत्याशी बने पीडीएस दुकानदार या उनके परिजन अनाज वितरण का हवाला दे चुनाव की पारदर्शिता और निष्पक्षता को प्रभावित न कर सके।
ऐसे में नवनिर्वाचित बीडीसी मेंबर सुनील कुमार पर चुनाव प्रक्रिया के दौरान बतौर पीडीएस दुकानदार राशन उठाव एवं वितरण का आरोप जांच में सही पाया गया है। बहरहाल, देखना दिलचस्प होगा कि जांच रिपोर्ट के आलोक में अनुमंडल पदाधिकारी सहित जिला पदाधिकारी क्या निर्णय लेते हैं। साथ ही इस मामले में प्रखंड प्रशासन की ओर से हुई चूक के लिए किसे जिम्मेदार ठहराया जाएगा।
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